डीएनए (DNA) एक जटिल अणु है जिसमें एक जीव को बनाने और उसके विकास के लिए आवश्यक सभी जानकारियां होती हैं। सभी जीवित कोशिकाओं के अंदर डीएनए पाया जाता है। आईये डीएनए का फुल फॉर्म जानने से पहले इसके बारे में कुछ जरूरी बातें जान लेते हैं।
डीएनए सभी प्रकार के जीवो में अनुवांशिकता की प्राथमिक इकाई के रूप में कार्य करता है दूसरे शब्दों में यदि कहें तो जब जीव प्रजनन करते हैं तो उनके (माता-पिता के) डीएनए का एक हिस्सा उनकी संतानों में चला जाता है।
चलचित्रों में आपने कई बार यह देखा होगा कि माता या पिता की पहचान के लिए कई बार बच्चों का डीएनए टेस्ट (DNA Test) किया जाता है, ऐसा इसलिए है क्योंकि हर व्यक्ति में उसके माता और पिता का डीएनए मौजूद होता है।
बच्चे का लिंग | माँ | पिता |
पुत्री में | 50% | 50% |
पुत्र में | 51% | 49% |
जैसा कि ऊपर टेबल में दिखाया गया है, यदि कोई पुत्री (Female) है तो उसमे उसके माता और पिता का 50-50 प्रतिशत डीएनए का योगदान, यानी माता-पिता का DNA बराबर भाग में होता है, किंतु पुरुष में यह योगदान थोड़ा असमान होता है। पुत्र (Male child) में उसकी मां का 51% डीएनए और पिता का 49% डीएनए पाया जाता है।
इसी तरह यह DNA मां-बाप से उसकी संतानों को पीढ़ी दर पीढ़ी थोड़ी-बहुत विविधता (Diversity) या बदलावों (Changes) के साथ स्थानांतरित होता रहता है। शायद इसीलिए यह कहा जाता है कि – लोग मरते नही है, बल्कि वे अपने बच्चों के जरिये इसी दुनिया में जीवित रहते हैं।
इस लेख में डीएनए के विषय में महत्वपूर्ण जानकारियाँ जैसे – डीएनए क्या है?, डीएनए कितने प्रकार का होता है, आधुनिक विज्ञान में डीएनए का महत्त्व और डीएनए का फुल फॉर्म हिंदी में क्या होता है? इत्यादि हम जानेगें। आइये सर्वप्रथम यह जानते हैं कि डीएनए का फुलफॉर्म क्या होता है ?
डीएनए का फुल फॉर्म
डीएनए का फुल फॉर्म – “डिऑक्सीराइबो न्यूक्लिक एसिड” होता है।
जहां डीऑक्सी राइबो का मतलब – शुगर अर्थात शर्करा (Sugar) और न्यूक्लिक एसिड से तात्पर्य फास्फेट एंड बेसेस (Phosphate and bases) से है।
Wiki Table:
हिंदी में डीएनए का फुल फॉर्म | डिऑक्सीराइबोन्यूक्लिक अम्ल |
कब खोज की गई | 1860 में |
खोज करने वाले वैज्ञानिक का नाम | फ्रेडरिच मिश्चर (Friedrich Miescher) – ‘Discovery of nucleic acids‘, फ्रांसिस क्रिक (Francis Crick) – ‘DNA structure‘, जैम्स वाट्सन (James Watson) – ‘DNA structure‘ |
वैज्ञानिक राष्ट्रीयता | स्विस (फ्रेडरिच मिश्चर), ब्रिटिस (फ्रांसिस क्रिक), अमेरिकन (जैम्स वाट्सन) |
शोध क्षेत्र | जीव विज्ञान, आण्विक जीव विज्ञान, भौतिक शास्त्र |
डीएनए क्या है?
डीएनए एक संरचना है जो किसी कोशिका की जैविक (Genetic) या बायोलॉजिकल (Biological) जानकारी को एक विशेष संकेतिक शब्दों में कूटबद्ध (Encode) करती है।
जैसा कि डीएनए के फुल फॉर्म से स्पष्ट है – यह एक न्यूक्लिक एसिड (Nucleic acid) है जिसमें किसी जीव की अनुवांशिक जानकारी (Genetic Information) होती है, जैसे किसी व्यक्ति की आंखों का रंग, उसका कद, उसके पूर्वजों की जानकारी इत्यादि।
डीएनए सभी जीव और पौधों में पाया जाता है और कुछ वायरसों (virus) में भी पाया जाता है। जिन विषाणुओं (Virus) में डीएनए (DNA) नहीं पाया जाता उनमें आरएनए (RNA) आवश्यक रूप से पाया जाता है, सार्स कोरोनावायरस (SARS-CoV-2 virus) एक ऐसा ही वायरस है जिसमें डीएनए (DNA) नहीं पाया जाता है।
ऐसे विषाणुओं (Virus) की जेनेटिक जानकारी के लिए आरएनए (RNA) को एक मशीन में डालकर रिवर्स ट्रांसक्रिप्शन प्रक्रिया (Reverse transcription) की मदद से कंप्लीमेंट्री डीएनए (Complementary DNA) जिसे सीडीएनए (cDNA) भी कहा जाता है, प्राप्त कर लिया जाता है और उसे आवर्धित (Magnified version) कर देख लिया जाता है।
डीएनए की खोज (Discovery of DNA)
कई लोगों का मानना है कि डीएनए की खोज अमेरिकी जीव विज्ञानी जेम्स वाटसन और ब्रिटिश भौतिक विज्ञानी फ्रांसिस क्रिक ने 1950 के दशक मैं की थी किंतु यह सत्य नहीं है, असल में डीएनए की खोज 1850 दशक के अंत में एक स्विस वैज्ञानिक फ्रेडरिच मिश्चर द्वारा की गई थी।
फ्रेडरिच मिश्चर का जन्म 13 अगस्त 1844 को बसेल, स्विटजरलैंड में हुआ था, फ्रेडरिच मिश्चर एक स्विस चिकित्सक और जीव विज्ञानी थे। वे 1869 में न्यूक्लिक एसिड की पहचान करने वाले प्रथम वैज्ञानिक थे, इसके अतिरिक्त उन्होंने पोटामाइन की पहचान की और कई अन्य महत्वपूर्ण खोजे भी की।
डीएनए के घटक (Composition of DNA)
अगर बुनियादी स्तर पर बात करें तो सभी डीएनए (DNA) न्यूक्लियोटाइड (Nucleotide) नामक छोटे अणुओं की एक श्रृंखला से बने होते हैं, लेकिन ध्यान देने योग्य बात यह है कि प्रत्येक न्यूक्लियोटाइड 3 प्राथमिक घटकों से बना होता है –
मुख्य घटक | प्रचलित नाम |
---|---|
नाइट्रोजन | नाइट्रोजन बेस |
कार्बन | डी-ऑक्सी राइबोस |
फास्फोरस | न्यूक्लिक एसिड |
प्रत्येक न्यूक्लियोटाइड (Nucleotide) को नीचे दिए गए किसी एक नाइट्रोजन बेस के रूप में परिभाषित किया जा सकता है –
नाम | संक्षिप्त संकेत |
---|---|
एडेनिन (Adenine) | A |
गुअनिन (Guanine) | G |
साइटोसिन (Cytosine) | C |
थाइमिन | T |
डीएनए कितने प्रकार के होते हैं (Types of DNA)
किसी कोशिका में पाए जाने वाला डीएनए (DNA) दो प्रकार का होता है –
1. ऑटोसोमल डीएनए (Autosomal DNA)
इसे परमाणु डीएनए (Nuclear DNA) भी कहते हैं, यह 22 गुणसूत्र युग्मों (22 Paired chromosomes) में पैक होता है। प्रत्येक जोड़े में एक पिता का और एक मां का डीएनए (DNA) होता है।
ऑटोसोमल डीएनए की मदद से किसी व्यक्ति के पूर्वजों की (वंशानुगत) जानकारी एकत्रित की जा सकती है।
2. माइट्रोकांड्रियल डीएनए (Mitochondrial DNA)
माइट्रोकांड्रिया एक ऐसा अंग है जो कोशिकाओं के लिए ऊर्जा उत्पादन का कार्य करता है। माइट्रोकांड्रिया का अपना खुद का डीएनए होता है, जिसे माइट्रोकांड्रियल डीएनए कहा जाता है।
माइट्रोकांड्रियल डीएनए में 1 गुणसूत्र (Chromosome) होता है, जिसमे माइट्रोकांड्रिया द्वारा की जाने वाली चयापचय प्रक्रियाओं (Metabolic processes) के लिए आवश्यक विशिष्ट प्रोटीन के लिए कोड होता है। माइट्रोकांड्रियल डीएनए कोशिकाओं से अलग प्रतिकृति (Replicates) बनाता है। माइट्रोकांड्रियल डीएनए की विशेषता यह है कि यह केवल मां से आगे के वंशज में स्थानांतरित होता है।
आधुनिक जीवन में डीएनए का महत्व
आधुनिक जीवविज्ञान और नए शोध में डीएनए का बहुत बड़ा योगदान है। शरीर कैसे प्रोटीन का निर्माण करता है DNA में इसका ब्लूप्रिंट होता है।
डीएनए की सहायता से किसी जीव के पूर्वजों और वंशज की जानकारी निकाली जा सकती है उदहारण के लिए – डीएनए जांच (DNA Test) की मदद से किसी बच्चे के पिता (पूर्वज) या भाई-बहन, पुत्र पुत्री (वंशज) के बीच बायोलॉजिकल संबंध का पता लगाया जा सकता है। इसके अलावा –
- चिकित्सा के क्षेत्र में डीएनए (DNA) के उपयोग से रोगों और चिकित्सा स्थितियों की सरल व्याख्या की जा सकती है, और उनके रोकथाम के लिए आवश्यक कदम उठाए जा सकते हैं। अधिकांश वंशानुगत बीमारियां जैसे – बांझपन, कैंसर इत्यादि डीएनए में दोषों के कारण पीढ़ी दर पीढ़ी स्थानांतरित होती चली जाती हैं, ऐसे में DNA की मदद से इन दोषों की पहचान की जा सकती हैं।
- वायरोलॉजी के क्षेत्र में इसका प्रयोग कर नई महामारी की रोकथाम और निवारण में मदद मिल सकती है, जैसे डीएनए स्टडी के बाद ही सार्स कोरोनावायरस (SARS-CoV-2 virus) के जीनोम (Genome) की जानकारी प्राप्त हो पाई थी और वैक्सीन का निर्माण संभव हो पाया।
- कानून के क्षेत्र में अपराधों की सटीक जांच के लिए डीएनए का उपयोग काफी उल्लेखनीय है। पिछले कुछ वर्षों में अपराध अनुसन्धान के क्षेत्र में फॉरेंसिक विज्ञान की विश्वसनीयता बढ़ी है। फॉरेंसिक विज्ञान की सहायता से ही यह पता लगाया गया था कि रिचर्ड – III को जिंदा जलाकर मार दिया गया था और क्राज निकोलस – II के बच्चों को रूसी क्रांति के समय मार दिया गया था। इस प्रकार यूनिक डीएनए ट्रेसिंग (Unique DNA Tracing) जिसे आमतौर पर अनुवांशिक वंश परीक्षण (Genetic ancestry testing) भी कहा जाता है कि मदद से सच को उजागर किया जा सकता है और अपराध पर नियंत्रण कायम किया जा सकता है।
- डीएनए की मदद से ही लाखों वर्ष पूर्व विलुप्त हो चुके डायनासोर की पृथ्वी पर उपस्थिति का पता लगाया जा सका।
- कृषि के क्षेत्र में डीएनए (DNA) का उपयोग कर फसलों की पहचान की जा सकती है। इसकी मदद से महत्वपूर्ण विशेषता धारण करने वाले जींस (Gene) की क्लोनिंग या संकरण (Cross-breeding or Hybridization) के बाद उच्च गुणवत्ता वाले बीजों का निर्माण किया जा सकता है। गोल्डन राइस (Golden rice) को बनाने के लिए डीएनए पर शोध की गई थी। अनेकों विवादों के बाद भी यह पाया गया कि गोल्डन राइस में विटामिन ए (रेटिनोल) की कमी को दूर करने की अच्छी क्षमता है। गोल्डन राइस में विटामिन – A प्रचुर मात्र में पाया जाता है, जहां लगभग 3000 बच्चे प्रतिवर्ष विटामिन ए की कमी के कारण मर जाते थे ऐसी स्थिति से लड़ने में गोल्डन राइस काफी मददगार हो सकता है। डीएनए की मदद से ही अनुवांशिक संकरण के फलस्वरुप गोल्डन राइस का निर्माण संभव हुआ।
डीएनए से सम्बंधित महत्वपूर्ण प्रश्न
हिंदी में डीएनए का फुलफॉर्म क्या है?
डीएनए का फुलफॉर्म हिंदी में – डिऑक्सीराइबोन्यूक्लिक अम्ल है।
क्या डीएनए व्यक्ति के खून में भी पाया जाता है?
रक्त मानव डीएनए का एक उत्कृष्ट स्रोत है लेकिन डीएनए केवल मनुष्य के श्वेत रक्त कणिकाओं (WBC) में पाया जाता है। DNA मनुष्य के लाल रक्त कोशिकाओं (RBC) में नहीं पाया जाता क्योंकि इसमें नाभिक (Nucleic) की कमी होती है।
क्या डीएनए को बदलना संभव है?
हां कई बार प्राकृतिक त्रुटियों के कारण DNA में असामान्य परिवर्तन आ जाते हैं, कृत्रिम रूप से वैज्ञानिक द्वारा इसमें बदलाव संभव है लेकिन इसका प्रचलन बहुत ही सीमित है क्योंकि इसे बहुत लोग अनैतिक और प्रकृति के विरुद्ध मानते हैं।
वैज्ञानिक डीएनए को कैसे देखते हैं?
डीएनए को खुली आंख से देख पाना संभव नहीं है, वैज्ञानिक इसके लिए अपनी प्रयोगशाला में DNA को मशीनों की मदद से आवर्धित करते हैं और फिर कुछ विशेष यंत्रों के द्वारा इनको देखते हैं।
क्या डीएनए पॉलीमरेस हैं?
हां। डीएनए पॉलीमरेस हैं।
डीएनए टेस्ट (DNA test) कराने के लिए क्या सैंपल देना पड़ता है?
डीएनए टेस्ट कराने के लिए प्रयोशाला द्वारा अधिकांशतः गले के अंदर के स्वैब का सेंपल लिया जाता है। इसके अतिरिक्त बाल या त्वचा के जरिए भी डीएनए टेस्ट किया जा सकता है।